नई दिल्ली । अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप मलेशिया में चल रहे 47वें आसियान शिखर सम्मेलन के दौरान पत्रकारों पर भड़क गए। सम्मेलन के दौरान उन्होंने ब्राजील के राष्ट्रपति लुइज इनासियो लूला दा सिल्वा से मुलाकात की और बैठक के अंत में पत्रकारों के सवालों के जवाब देने आए। लेकिन ट्रंप ज्यादा सवालों का जवाब देने के मूड में नहीं दिखे।
प्रेस कॉन्फ्रेंस में कुछ पत्रकारों के सवालों को उन्होंने टाल दिया और कुछ का जवाब देने से साफ इंकार कर दिया। एक मौके पर उन्होंने कहा, “ये कौन चिल्ला रहा है?” और कहा कि “चिल्लाओ मत।” इसके बाद ट्रंप ने ब्राजील को खूबसूरत देश बताया और उसके राष्ट्रपति की तारीफ की। एक खास पत्रकार के सवाल को लेने से उन्होंने कहा, “फिर से आप, प्लीज नहीं।” उन्होंने पत्रकारों के सवालों को उबाऊ बताते हुए कहा, “आज के सवाल ज्यादा अच्छे नहीं हैं। ये बहुत उबाऊ सवाल हैं। बाद में मिलते हैं, धन्यवाद।”
ब्राजील के राष्ट्रपति लूला दा सिल्वा ने भी पत्रकारों को सवाल पूछने पर टिप्पणी की थी। उन्होंने कहा कि “हमारे पास ज्यादा समय नहीं है और हम पत्रकारों से बात करके समय बर्बाद नहीं करना चाहते। हमारे पास चर्चा करने के लिए बहुत कुछ है। अगर आपके पास धैर्य है तो नतीजे बाद में पता चलेंगे।”
ट्रंप के इस रवैये ने उनके बर्ताव पर सवाल उठाए हैं। कुछ लोगों ने उन्हें एक महिला पत्रकार के सवालों का जवाब न देने के लिए मिसोजिनिस्ट (स्त्री-द्वेषी) तक कह दिया। सोशल मीडिया पर इंस्टाग्राम यूजर ने लिखा, “मुझे उन पत्रकारों के लिए बहुत बुरा लगता है, जिन्हें उनके बेकार जवाबों और अपमान को सहना पड़ता है।”
विशेषज्ञों का कहना है कि इस तरह के व्यवहार से अंतरराष्ट्रीय मंच पर नेताओं की छवि प्रभावित हो सकती है। जबकि ट्रंप ने अपने बयान में इस बात को प्राथमिकता दी कि ब्राजील और अमेरिकी संबंध अच्छे हैं, उनके रवैये ने पत्रकारिता और प्रेस की स्वतंत्रता पर कई सवाल खड़े कर दिए हैं।
